नया इनकम टैक्स बिल लागू होने से आम जनता पर इसका क्या असर होने वाला है, जानिए New Income Tax Bill

New Income Tax Bill भारत सरकार ने आयकर विधेयक 2025 पेश किया है, जो मौजूदा आयकर अधिनियम 1961 की जगह लेने वाला है इस नए कानून का उद्देश्य कर प्रणाली को सरल, पारदर्शी और डिजिटल रूप से मजबूत बनाना है, जिससे करदाताओं को कम जटिलता का सामना करना पड़े।

इस विधेयक में कई बड़े बदलाव किए गए हैं, जो सीधे तौर पर मध्यम वर्ग, व्यावसायिक करदाताओं और डिजिटल संपत्तियों में निवेश करने वालों को प्रभावित करेंगे सरकार ने कर छूट की सीमा में बदलाव, विदेशी निवेश को बढ़ावा देने, कृषि और निर्माण क्षेत्र में नए प्रावधान जोड़े हैं इस लेख में, हम विस्तार से जानेंगे कि यह नया कानून आपके कर भुगतान और वित्तीय योजनाओं को कैसे प्रभावित करेगा।

कर स्लैब में बदलाव से करदाताओं को राहत

नए विधेयक में कर स्लैब को मध्यम वर्ग के करदाताओं के लिए अधिक लाभकारी बनाने पर जोर दिया गया है सरकार ने 12 लाख रुपये तक की वार्षिक आय को कर मुक्त करने का प्रस्ताव रखा है, जिससे लाखों लोगों को राहत मिलेगी वर्तमान में, कर छूट की सीमा 5 लाख रुपये तक थी, लेकिन अब इसे दोगुना कर दिया गया है।

इसके अलावा, उच्च आय वर्ग के लोगों के लिए कर की दरों को थोड़ा संशोधित किया गया है, जिससे सरकार को राजस्व में वृद्धि होगी यह कदम अर्थव्यवस्था में अधिक पैसा प्रवाहित करने और उपभोक्ता खर्च को बढ़ावा देने के उद्देश्य से लिया गया है।

डिजिटल संपत्तियों पर सख्ती और कर चोरी पर रोक

इस विधेयक में एक बड़ा बदलाव डिजिटल संपत्तियों और वित्तीय लेन-देन पर निगरानी को लेकर किया गया है सरकार ने कर अधिकारियों को अब यह अधिकार दिया है कि वे करदाताओं के ईमेल, ट्रेडिंग अकाउंट, सोशल मीडिया और डिजिटल प्लेटफॉर्म तक पहुंच प्राप्त कर सकें।

इसका मुख्य उद्देश्य कर चोरी और अघोषित संपत्तियों का पता लगाना है हालांकि, यह प्रावधान लोगों की निजता को प्रभावित कर सकता है, जिसके कारण इसे लेकर कुछ आलोचनाएं भी हो रही हैं लेकिन सरकार का मानना है कि यह डिजिटल युग में कर संग्रह को अधिक पारदर्शी बनाएगा और कालाधन रोकने में मदद करेगा।

एफडीआई सीमा बढ़ाकर विदेशी निवेश को बढ़ावा

नया आयकर विधेयक केवल करदाताओं तक सीमित नहीं है, बल्कि यह विदेशी निवेश को भी प्रोत्साहित करने की दिशा में काम करेगा सरकार ने बीमा क्षेत्र में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (FDI) की सीमा को 74% से बढ़ाकर 100% कर दिया है, जिससे देश में विदेशी पूंजी का प्रवाह बढ़ेगा।

यह कदम बीमा कंपनियों को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रतिस्पर्धा करने के लिए अधिक संसाधन उपलब्ध कराएगा और साथ ही भारतीय ग्राहकों को बेहतर बीमा उत्पाद और सेवाएं प्रदान करेगा।

कृषि और निर्माण क्षेत्र को मिला विशेष प्रोत्साहन

सरकार ने इस विधेयक में कृषि और निर्माण क्षेत्र के लिए भी नए प्रस्ताव रखे हैं सरकार ने दालों और कपास के उत्पादन को बढ़ाने के लिए छह वर्षीय राष्ट्रीय मिशन शुरू करने का ऐलान किया है इससे न केवल किसानों की आय बढ़ेगी, बल्कि देश में खाद्य सुरक्षा और निर्यात को भी मजबूती मिलेगी।

इसके अलावा, ‘मेक इन इंडिया’ मिशन के तहत राष्ट्रीय निर्माण मिशन की स्थापना की जाएगी, जिससे देश में बड़े निर्माण कार्यों और औद्योगिक विस्तार को बढ़ावा मिलेगा इससे निर्माण क्षेत्र में नौकरी के अवसर बढ़ेंगे और इंफ्रास्ट्रक्चर को नई दिशा मिलेगी।

आपके लिए नया आयकर विधेयक 2025 क्यों महत्वपूर्ण है

अगर आप एक वेतनभोगी कर्मचारी, व्यवसायी या निवेशक हैं, तो यह नया कानून आपको कई तरह से प्रभावित करेगा कर छूट की सीमा बढ़ने से मध्यम वर्ग के लोगों को अधिक बचत करने का अवसर मिलेगा, जिससे उनकी खर्च करने की क्षमता भी बढ़ेगी।

डिजिटल संपत्तियों की निगरानी से टैक्स चोरी करने वालों पर शिकंजा कसा जाएगा, जिससे सरकार को अधिक कर राजस्व प्राप्त होगा विदेशी निवेश को बढ़ावा देने और बीमा क्षेत्र में एफडीआई सीमा बढ़ाने से अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी और नए रोजगार सृजित होंगे।

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